New Criminal Laws: 1 अक्टूबर से लागू हो रहे 3 बने कानून, अब इन लोगों की नहीं होगी खैर

WhatsApp Group Join Now
Telegram Join Now

New Criminal Laws: आगामी 1 अक्टूबर 2024 से भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) के स्थान पर भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस), दंड प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी) को परिवर्तित करके भारतीय नागरिक की सुरक्षा एवं संहिता हेतु (बीएनएसएस) तथा साक्ष्य अधिनियम को परिवर्तित करके अब मुख्य रूप से साक्ष्य अधिनियम (बीएसए) को लागू कर दिया है। इस नियम के तहत पुलिस के द्वारा सभी मुजरिमों पर बड़ी कार्रवाई की जाएगी।

वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों के द्वारा बताया गया है कि इन सभी नए तीनों कानून के चलते विभिन्न प्रकार के अपराधों में कमी की जाएगी और सजा को मुख्यतः परिभाषित किया जा सकेगा। जैसे इसे सजा के माध्यम से नागरिकों को सूचित किया जाएगा, और साथ ही नए कानून के लागू हो जाने के बाद से भारत की न्याय प्रणाली आईपीसी के द्वारा अंग्रेजी नियम को अनावश्यक माना जाएगा।

New Criminal Laws

इसे लेकर बड़ी जानकारी सामने आई है, जहां पर बताया जा रहा है कि प्रेस कांफ्रेंस के माध्यम से कुछ मुख्य वरिष्ठ अधिकारियों के द्वारा इसके संबंध में जानकारी प्रस्तुत की गई है। इन सभी नए नियम कानून को लागू करने का विचार किया है, सरकार इस नियम को लेकर लगातार कार्य कर रही है, जिससे कि अपराधों में कमी की जा सके।

इस नए नियम का मुख्यतः प्रभाव अपराधी पर पड़ने वाला है। इसे हर वर्ग के नागरिक को सुरक्षा मिलेगी, जैसे कि बच्चे से लेकर बूढ़े, महिला, बुजुर्ग, अधिकारी और कॉलेज आने-जाने वाले स्टूडेंट्स को भी इस नए नियम के तहत जोड़ा जाएगा। किसी भी प्रकार की गलत जानकारी पाए जाने पर आप तत्काल पुलिस में शिकायत भी कर सकते हैं।

60 हजार पुलिस अधिकारी-कर्मचारी प्रशिक्षित

नए नियम को लेकर लगभग 60 हजार से अधिक पुलिस कर्मचारी प्रशिक्षित किए जा रहे हैं, जिससे कि पुलिस कर्मियों को सॉफ्टवेयर में एंट्री करने की भी कुछ महत्वपूर्ण जानकारी सिखाई जाएगी। साथ में, उन्हें सिचुएशन को कैसे हैंडल करना है, इसकी भी जानकारी सिखाई जाएगी।

नए कानूनों में महिलाओं और बच्चों के लिए खास प्रावधान

नए कानून के तहत मुख्य रूप से महिलाओं को और बच्चों को सुरक्षित रखने के लिए कई सारी सुविधाएं मिलने वाली हैं। मुजरिम के लिए ऐसे कड़े कानून लागू किए जा रहे हैं, जैसे कि कोई अपराध करने से पहले 10 बार सोचेगा। महिला और बच्चों के खिलाफ अपराधों से जुड़े तंत्र के प्रावधान को पूरी तरीके से बदल दिया है, और अब आजीवन कारावास के साथ भयंकर दर्दनाक जेल की सलाखों में अपना जीवन व्यतीत करना पड़ेगा। इसके अलावा, कानून के पीड़िता का बयान अभिभावक की मौजूदगी में ही दर्ज किया जा सकेगा।

नियम को लेकर जल्द से जल्द कार्रवाई की जाने का प्रावधान जारी किया गया है। यदि किसी जगह पर कोई अपराध होता है, तो उसे लगभग 120 दिनों के भीतर सुलझाना अनिवार्य है, और 60 दिनों के भीतर आपको निर्धारित किया जा सकता है। इसके अतिरिक्त, 45 दिनों में फैसला देना पड़ेगा।

शिकायत को दर्ज करने के लिए पूरा स्टाफ, पूरी टीम आपका सहायता करेगी। इसके अतिरिक्त, पूछताछ करने पर आपको सभी जानकारी अच्छी तरीके से बताना अनिवार्य है। अपराध की पूरी घटना, अपराध की पूरी जानकारी, अपराध का स्थान, और अपराध की डीटेल्स आपको दर्ज करवाना अनिवार्य है।

अस्वीकरण: हम गारंटी नहीं देते हैं कि हमारे द्वारा उपलब्ध कराई गई इस प्रश्न की जानकारी 100% सही है।

Vinay Kumar

नमस्कार! मैं विनय कुमार, छत्तीसगढ़ के रायपुर जिले से हूँ। पिछले तीन सालों से कंटेंट लेखन के क्षेत्र में कार्यरत हूँ, और फाइनेंस, ऑटोमोबाइल, और टेक्नोलॉजी जैसे विषयों में मेरी गहरी समझ है। मेरा लेखन न सिर्फ जानकारीपूर्ण होता है बल्कि इसे सरल और दिलचस्प तरीके से पेश करने का प्रयास रहता है ताकि पाठकों को पढ़ने में आनंद आए। आइए, ज्ञान के इस सफर में हम साथ मिलकर आगे बढ़ें!

Leave a Comment